सच्चा प्यार

   सच्चा प्यार

                          
ओ प्रिये
मैंने कहा —
मैं तुमसे
सच्चा प्यार करता हूँ
तुम बोली —



सबूत दो
तो सुनो प्रिये —
तुम मेरा
‘लाइ-डिटेक्टर टेस्ट’ ले लो
फिर तुम जान जाओगी
कि तुम्हारे प्रति
मेरा प्यार सच्चा है


या फिर
तुम्हारे वियोग में
मैंने जो आँसू बहाए हैं
उन्हें तुम
प्रयोगशाला की टेस्ट-ट्यूबों में
भर कर
एलेक्ट्रोन माइक्रोस्कोप के नीचे
उनका परीक्षण कर लो
मेरे उन आँसुओं में तुम्हें
तुम्हारे प्रति मेरे सच्चे प्यार के
असंख्य अणु तैरते मिलेंगे


इस कंक्रीट-जंगल में
जहाँ टेस्ट-ट्यूब बच्चों का
युग पल रहा है
मैं तुम्हें अपने प्यार के
सच्चा होने का
और कौन-सा सबूत दूँ  ?


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                          2. ढेंचू-ढेंचू
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                                           — सुशांत सुप्रिय
मैं भी बढ़िया , तुम भी बढ़िया
दोनों बढ़िया , ढेंचू-ढेंचू


राग अलापे , जो भी हम-सा
वह भी बढ़िया , ढेंचू-ढेंचू


मेरा खूँटा , मेरी रस्सी
यही है दुनिया , ढेंचू-ढेंचू


हम भी गदहे , तुम भी गदहे
जग गदहामय , ढेंचू-ढेंचू


यदि तुम हिन-हिन करते हो तो
तुम घटिया हो , ढेंचू-ढेंचू


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प्रेषकः सुशांत सुप्रिय
         A-5001,
         गौड़ ग्रीन सिटी ,
         वैभव खंड ,
         इंदिरापुरम ,
         ग़ाज़ियाबाद – 201014
         ( उ. प्र. )
मो: 8512070086
ई-मेल: sushant1968@gmail.com


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